ठाणे [ युनिस खान ] महापुरुषों और समाज सुधारकों के बारे में अपमान जनक बयान देने वाले संभाजी भिड़े के खिलाफ पुलिस ने अपराध दर्ज किया है। नौपाडा पुलिस ने विधायक डा जितेन्द्र आव्हाड ने कहा है कि दुसरे देशों में महापुरुषों के अपमान जनक टिपण्णी करने वालों के खिलाफ देशद्रोह की कार्रवाई की जाती है लेकिन अपने देश में उन्हें बचाया जा रहा है।
डा आव्हाड ने कहा है कि जिनके विचारों को पूरी दुनिया ने स्वीकार किया उस महात्मा गांधी का अपमान किया जा रहा है। राकांपा के राष्ट्रीय महासचिव व विधायक आव्हाड ने संभाजी भिड़े का असली नाम मनोहर भिड़े बताते हुए गिरफ्तारी की मांग की। उन्होंने कहा कि अगर बुधवार तक भिड़े को गिरफ्तार नहीं किया गया तो विधानसभा का अधिवेशन नहीं चलने देंगे। सोमवार को नौपाड़ा पुलिस थाने में भिड़े के खिलाफ लिखित शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने भादवि की धारा 153 ए , 500 , 505 [ 2 ] के तहत मामला दर्ज किया है। उनके साथ राकांपा जिला अध्यक्ष सुहास देसाई, कांग्रेस जिला अध्यक्ष विक्रांत चव्हाण, राकांपा महिला अध्यक्ष सुजाता घाग, कार्यकारी अध्यक्ष सुरेखा पाटिल, युवा अध्यक्ष विक्रम खामकर आदि मौजूद थे।
डा आव्हाड ने कहा कि मनोहर भिड़े ने महात्मा गांधी और कल महात्मा फुले के बारे में गंदी टिप्पणी की। वे जो भाषा बोलते हैं वह इस देश की संस्कृति नहीं है। जब भी वे मुसलमानों के बारे में अपमानजनक टिप्पणी करते हैं, तो उनका उद्देश्य उन्हें बिना किसी कारण के घसीटकर नफरत पैदा करना होता है। इससे पहले उन्होंने पंडित नेहरू और इंदिरा गांधी के बारे में भी भद्दी टिप्पणी की है। कई समाज सुधारकों, स्वतंत्रता सेनानियों के बारे में बेहद भद्दी भाषा बोलने वाला ये भिड़े ग्यारहवीं पास भी नहीं है। उनके समर्थक यह दिखावा करके उनकी छवि बना रहे हैं कि फर्ग्यूसन कॉलेज में प्रोफेसर थे। उस व्यक्ति को क्या कहना चाहिए जो महात्मा गांधी के चरित्र पर संदेह करता है? वह अत्यंत पागल है या फिर किसी ने उसे सुपारी दी है। उनके मन में बहुजन समाज के प्रति इतनी नफरत क्यों है? मेरा सवाल यह है कि क्या सरकार को कुछ नहीं दिखता?