ठाणे [ युनिस खान ] बम धमाकों में सैकड़ों मुंबईकरों की हत्या करने वाले अंतरराष्ट्रीय आतंकवादी दाऊद इब्राहिम के मास्टरमाइंड नवाब मलिक को मंत्री बनाए रखना महाराष्ट्र का अपमान है। इस आशय का आरोप लगाते हुए आज मुख्यमंत्री से नवाब मलिक के इस्तीफे की मांग भाजपा विधायक निरंजन डावखरे ने की है। उन्होंने कहा कि एनआईए की कार्रवाई में 9 जगहों पर छापेमारी करने के बाद मिले लिंक के मुताबिक पता चला कि रियल इस्टेट का लेन-देन मनी लॉन्ड्रिंग के जरिए किया जा रहा था। एक मामला मंत्री नवाब मलिक का सामने आया है।
राज्य के अल्पसंख्यक मंत्री नवाब मलिक के इस्तीफे की मांग को लेकर ठाणे शहर भाजपा की ओर से जिलाधिकारी कार्यालय के सामने विरोध प्रदर्शन किया गया। आंदोलन में विधायक व जिलाध्यक्ष निरंजन डावखरे, विधायक संजय केलकर, भाजपा उपाध्यक्ष माधवी नाइक, प्रदेश सचिव संदीप लेले, वरिष्ठ नगर सेवक मिलिंद पाटनकर, संजय वाघुले, मुकेश मोकाशी, भारत चव्हाण, महिला मोर्चा अध्यक्ष मृणाल पेंडसे, नगर सेविका नम्रता कोली. दीपा गावंड, परिवहन समिति के सदस्य विकास पाटिल, जयेंद्र कोली, राजेश मढवी, सीताराम राणे, सागर भादे और भाजपा के अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे। आन्दोलन के बाद भाजपा नेताओं का एक प्रतिनिधि मंडल जिलाधिकारी राजेश नार्वेकर को अपनी मांगों का ज्ञापन दिया।
विधायक डावखरे ने यह चेतावनी दी कि मुंबई मनपा और अन्य चुनावों पर नजर रखकर मुसलमानों को खुश करने के लिए देशद्रोही दाऊद के हाथों को पनाह देने की नापाक राजनीति ठाकरे सरकार के पतन का कारण बनेगी। आरोप है कि नवाब मलिक ने दाऊद की आतंकवादी गतिविधियों के लिए धन जुटाने की साजिश में सहायता की और ईडी के पास इस आशय के पुख्ता सबूत थे। दाऊद इब्राहिम, जिसने 1992 में मुंबई में भीषण बम विस्फोट कर देश के खिलाफ सबसे घातक आतंकवादी साजिश को अंजाम दिया, जिसमें सैकड़ों निर्दोष नागरिक मारे गए, ईडी द्वारा नवाब मलिक के पर मिलीभगत का आरोप लगाया जा रहा है। मलिक के इस्तीफे का विरोध करने वाली राकांपा की राजनीति की महाराष्ट्र को भारी कीमत चुकानी पड़ेगी। मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने मलिक को मंत्री बनाए रखने के दबाव के आगे झुककर यह साबित कर दिया है कि वह एक निर्दोष राजनेता हैं।1992-93 के बम धमाकों के बाद दाऊद के हमले से मुंबईकरों का बचाव करने वाले बालासाहेब ठाकरे के उत्तराधिकारी मुख्यमंत्री पद और सत्ता की खातिर दाऊद से संबधित व्यक्ति को बचाने के लिए खतरनाक खेल खेल रहे हैं। विधायक डावखरे ने चेतावनी देते हुए कहा है कि अगर उद्धव ठाकरे में बालासाहेब की विरासत के बारे में बताने की हिम्मत है तो मलिक को मंत्री मंडल से तत्काल हटा दें।